नक्सलियों के अर्थतंत्र को तोड़ने के लिए झारखंड पुलिस और ईडी ने मिलाया हाथ

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नक्सलियों के अर्थतंत्र को तोड़ने के लिए झारखंड पुलिस और ईडी ने मिलाया हाथ

पुलिस-ईडी मीटिंग

पुलिस-ईडी मीटिंग

सूबे में लेवी व अन्य माध्यमों से नक्सली नेताओं ने करोड़ों की सम्पत्ति अर्जित की है

    झारखंड में नक्सलियों के अर्थतंत्र और गतिविधियों पर लगाम लगेगी. इसके अलावा साइबर अपराधियों और संगठित अपराध से जुड़े अपराधियों पर भी बड़ा प्रहार होगा. झारखंड पुलिस और ईडी एक साथ संयुक्त रुप से ये प्रहार करेंगे. इसको लेकर गुरुवार को रांची स्थित झारखंड पुलिस मुख्यालय में ठोस रणनीति बनी.

    दरअसल सूबे में लेवी व अन्य माध्यमों से नक्सली नेताओं ने करोड़ों की सम्पत्ति अर्जित की है. नक्सली नेताओं की इन्हीं अवैध सम्पत्तियों पर ईडी और झारखंड पुलिस की नजर है. गुरुवार को ईडी के महानिदेशक कर्नल सिंह की अगुवाई में दिल्ली से आयी टीम ने झारखंड पुलिस के आलाधिकारियों के साथ बैठक की. इस हाईलेवल मीटिंग में नक्सलियों के साथ-साथ साईबर अपराधियों और संगठित अपराध से जुड़े लोगों की अवैध सम्पत्तियों को जब्त करने की रणनीति बनी.

    रणनीति के तहत कार्रवाई के लिए पहले ऐसे नक्सली नेताओं, समर्थकों, साइबर अपराधियों और संगठित अपराध से जुड़े अपराधियों की सूची तैयारी की जायेगी, फिर उन पर ईडी और राज्य पुलिस एकसाथ धावा बोलेंगे. इस सिलसिले में आवश्यक दिशा-निर्देश सभी जिलों के एसपी, रेंज डीआईजी और आईजी को दिया जायेगा.

    पहले चरण में जहां दो दर्जन से अधिक बड़े नक्सली नेताओं की सम्पत्ति जब्त करने की कार्रवाई एक माह के अंदर शुरु की जायेगी, वहीं कुछ साइबर अपराधियों और संगठित अपराध से जुड़े अपराधियों पर भी एक्शन होगा. आने वाले एक वर्ष के अंदर यह आंकड़ा एक सौ के पार होगा. इतना ही नहीं इस संयुक्त रणनीति के तहत नक्सलियों और संगठित अपराध से जुड़े बड़े अपराधियों को फंडिंग करने वालों के खिलाफ भी कार्रवाई होगी.

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